नीम करौली महाराज

Neem Karoli Maharaj

नीम करौली महाराज एक बहुत ही महान संत थे जिन्होंने लाखों लोगों की जिंदगी बदल दी। उनका असली नाम लक्ष्मण नारायण शर्मा था और वो सन 1900 के आसपास उत्तर प्रदेश में पैदा हुए थे। महाराज-जी की सबसे बड़ी सीख थी: "सबसे प्यार करो, सबकी सेवा करो, भगवान को याद करो"। उनकी सीख आज भी लाखों लोगों को inspire करती है।

कौन थे नीम करौली महाराज?

नीम करौली महाराज एक बहुत ही महान संत थे। उनका असली नाम लक्ष्मण नारायण शर्मा था। वो सन 1900 के आसपास उत्तर प्रदेश के अकबरपुर में पैदा हुए थे। बचपन से ही उनका मन भगवान की भक्ति में लगता था।

जब वो बड़े हुए तो उन्होंने घर छोड़ दिया और एक साधु बन गए। वो हर जगह घूमते रहे और लोगों को भगवान का नाम सिखाते रहे। उनकी सबसे बड़ी खासियत ये थी कि वो हर किसी से बहुत प्यार से बात करते थे।

महाराज-जी की खास बातें

  • भक्ति योग का रास्ता - वो भक्ति योग के रास्ते पर चलते थे - यानी भगवान से प्यार करना और सेवा करना
  • सब एक है - उनका मानना था कि "सब एक है" - मतलब सभी लोग एक ही भगवान के बच्चे हैं
  • मुख्य सीख - उनकी सबसे बड़ी सीख थी: "सबसे प्यार करो, सबकी सेवा करो, भगवान को याद करो"
  • वैश्विक प्रभाव - उनके पास दुनिया भर से लोग आते थे - अमेरिका, यूरोप, हर जगह से devotees आते थे

शुरुआती जीवन

महाराज-जी का जन्म एक साधारण परिवार में हुआ था। लेकिन बचपन से ही उनका मन spiritual चीजों में लगता था। जब वो थोड़े बड़े हुए तो उन्होंने घर छोड़ दिया और एक wandering sadhu बन गए। वो हर जगह घूमते रहे और लोगों को भगवान का नाम सिखाते रहे।

भगवान हनुमान से प्यार

महाराज-जी को भगवान हनुमान जी से बहुत प्यार था। वो हमेशा हनुमान चालीसा पढ़ते थे और लोगों को भी हनुमान जी की भक्ति करने के लिए कहते थे। उनका मानना था कि हनुमान जी की भक्ति से सभी मुश्किलें दूर हो जाती हैं।

महाराज-जी की मुख्य सीख

सबसे प्यार करो

Love Everyone

सबकी सेवा करो

Serve Everyone

भगवान को याद करो

Remember God